अंतरंग हमसफ़र भाग 059

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मिली का सौंदर्य अवलोकन.
2.7k words
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Part 59 of the 343 part series

Updated 04/29/2024
Created 09/13/2020
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अंतरंग हमसफ़र भाग 58 में पढ़ा:

मैंने पुछा क्या हुआ एमी क्या आपको मेरा चुम्बन अच्छा नहीं लगा? मेरे ऐसा कहने से वह मेरी तरफ घूमी और उसके चेहरे का गुलाबी रंग गहरे सुर्ख लाल में बदल गयाl । मैं बोला एमी मैं आपको बहुत पसंद करता हूँ और मैं आगे बढ़ा और उसको दुबारा किस करने लगा। एमी बहुत धीरे से बोली जब आप ऐसे मुझे किस करते हो तो मुझे कुछ होता है।

तभी मिली भी आ गयी, और उसने बहुत आकर्षक नाइटी पहनी हुई थी-क्योंकि वह अर्ध-पारदर्शी थी। उसने सब को बारी-बारी से चूमा, उसकी बहन लिली की तरफ देखा और मिली ने मुझसे पूछा। क्या आप आज रात लिली और मेरे साथ संतुष्ट होंगे और एमी को देखने दीजिये कि ये खेल कैसे खेला जाता है; कल हम एमी को तुम्हारे हवाले कर देंगी! ' मिली ने एमी की कमर के चारों ओर अपना हाथ डाला क्योंकि शरमाती हुई लड़की उसके करीब होकर सुरक्षित महसूस कर रही थी।

'निश्चित रूप से, मिली!' मैंने मुस्कुराते हुए जवाब दिया और एमी को और देखा 'लेकिन मुझे लगता है कि एमी हर उस चीज में हिस्सा लेने को तैयार है जिसे हम खेल सकते हैं?'

आपने मेरी कहानी " अंतरंग हमसफ़र-- 1 से 58" में अब तक पढ़ा:

मैं अपनी पत्नी प्रीती को अपनी अभी तक की अंतरंग हमसफर लड़कियों के साथ मैंने कैसे और कब सम्भोग किया। ये कहानी सुनाते हुए बता रहा था की, किस तरह मेरी फूफरी बहन की पक्की सहेली हुमा की पहली चुदाई जो की मेरे फूफेरे भाई टॉम के साथ होने वाली थी। टॉम को बुखार होने के बाद मेरे साथ तय हो गयी। फिर सब फूफेरे भाई, बहनो और हुमा की बहन रुखसाना तथा मेरी पुरानी चुदाई की साथिनों रूबी, मोना और टीना की मेरी और हुमा की पहली चुदाई को देखने की इच्छा पूरी करने के लिए सब लोग गुप्त तहखाने में बने हाल में ले जाए गए। मैं दुल्हन बनी खूबसूरत और कोमल मखमली जिस्म और संकरी चूत वाली हुमा ने अपना कौमर्य मुझे समर्पित कर दिया उसके बाद मैंने उसे सारी रात चोदा और यह मेरे द्वारा की गई सबसे आनंदभरी चुदाई थी। उसके बाद सब लोग घूमने मथुरा आगरा, भरतपुर और जयपुर चले गए और घर में एक हफ्ते के लिए केवल मैं, हुमा और रोज़ी रह गए। जाते हुए रुखसाना बोली दोनों भरपूर मजे करना। उसके बाद मैं और हुमा एक दूसर के ऊपर भूखे शेरो की तरह टूट पड़े और हुमा को मैंने पहले चोदा और फिर उसके बाद बहुत देर तक चूमते रहे।

उसके बाद मैं फूफा जी के कुछ जरूरी कागज़ लेकर श्रीमती लिली से मिलने गया पर इस कारण से हुमा नाराज हो कर चली गयी । लिली वास्तव में बहुत सुंदर थी और उसका यौवन उसके बदन और उसके गाउन से छलक रहा था। उसके दिव्य रूप, अनिन्द्य सौन्दर्य, विकसित यौवन, तेज। कमरे की साज सज्जा, और उसके वस्त्र सब मुझ में आशा, आनन्द, उत्साह और उमंग भर रहे थे। अचानक वह दर्द से चिल्लाने लगी और बोली, मेरे पैरों में ऐंठन आ गयी है। मैंने उसके गाउन को ऊपर उठाते हुए और उसकी प्यारी पिंडलियों को अपने हाथों से सहलाया, और नरम और गुलाबी त्वचा पर चुंबन कर दिया। उसके अतुलनीय अंग अनुपम रूप से सुशोभित थे। मैंने लिली की जांघो और उसकी टांगो को चूमा और सहलाया फिर उसकी योनि के ओंठो को चूमा, चूसा और फिर मेरी जीभ ने उसके महीन कड़े भगशेफ की खोज की, मैंने उसे परमानंद में चूसा, और उसने मेरा मुँह अपने चुतरस से भर दिया।

लिली ने लंड को पकड़ लंडमुड से भगनासा को दबाया और योनि के ओंठो पर रगड़ा और अपनी जांघो की फैलाते हुए योनि के प्रवेश द्वार पर लंड को लगाया और उसने अपने नितंबों को असाधारण तेज़ी और ऊर्जा के साथ ऊपर फेंक दिया। मेरा कठोर खड़ा हुआ लंड लिली की टाइट और कुंवारी चूत के छेद में घुस गया और मैंने लिली को आसन बदल कर भी चोदा। मैं पास के कमरे में गया वहां हुमा थीं। हम दोनों एक दूसरे की बांहो जकड़ कर जन्नत के आनंद का मज़ा लिए और मैंने ढेर सारा वीर्य उसकी योनि में छोड़ा।

कुछ देर बाद मैं उठा तो मैंने देखा हुमा भी नींद की आगोश में थी और पर्दा हटा कर मैंने लिली के कक्ष में झाँका और मैंने वहाँ बिस्तर पर गहरी नींद में सोई हुई प्यारी परम् सुंदरी लिली को देखा। मैं अपने उत्तेजित और झटकेदार उपकरण के सिर और बिंदु को उसके निचले आधे हिस्से के बिल्कुल सामने नहीं ले आया और फिर मैंने एक झटके में ही लंड मुंड को अंदर कर दिया! मेरा लंड एक बार फिर झड़ने के बाद कठोर ही रहा और उसे देख लिली थोड़ा आश्चर्यचकित हुई और मैंने उसने अपने ऊपर आने के लिए उत्साहित किया। हुमा भी घण्टे की आवाज़ से जग गयी थी और मुझे ढूँढते हुए लिली के कमरे में पता नहीं कब आ गयी थी लिली की चुदाई देखने के बाद हुमा भी मेरे साथ चिपक गयी। फिर मैंने हुमा और लिली की रात भर चुदाई की। अगले दिन लिली बोली अब तुम्हे मेरी दोनों बहने भी चाहती हैं और तुम्हे उन्हें भी चोदना होगा। दीपक मैं आपको विश्वास दिलाती हूँ कि मेरी बहनें मिली सबसे बेहतरीन महिला हैं और एमी बहुत कमसिन है। मैंने उसके हाथ पर अपना हाथ रखते हुए उत्तर दिया मैं अपने आप को पूरी तरह से आपको समर्पित करता हूँ और आपकी सेवा में कोई कोर कसर नहीं छोड़ूंगा और हमने उसकी कार से हवाई अड्डे के लिए प्रस्थान किया।'

कार में मैं मिली की बगल में बैठा उसे निहार रहा था और यह वास्तव में बहुत सुंदर थी, मैंने उसकी पतली कमर ने अपनी बाहों डाल कर उसे कसकर गले से लगा लिया, उसे चूमा और अपना हाथ उसकी जांघों के बीच में धकेल दिया और मुझे उसकी झांटों के बीच योनि के नंगे होंठ महसूस किये। मैंने मिली को एयरपोर्ट से घर के रास्ते के बीच में ही चोद दिया।

घर में मिली मुझे खींच कर अपने कमरे में ले गयी।अगले कुछ ही पलो में हम दोनों चुंबन करते हुए नग्न हो गए और बिस्तर में एक दुसरे के साथ गुथम गुथा हो गए। उसके बाद तय हुआ एमी के कौमार्य भंग करने का कार्यक्रम कल रात के लिए रखा गया और आज रात मैं लिली और मिली को समर्पित की जायेगी।

अंत में जब तय समय हो गया तो मैं उठा और मिली के कमरे में गया और फिर मिली, लिली और एमी को चुंबन किया।

अब आगे:-

मिली ने एमी की ओर रुख किया। 'मेरी लाड़ली छोटी बहन एमी! तुम क्या कहती हो,?' उसने प्यार से पूछा।

मिली की बात सुन एमी एक पल के लिए झिझकीं, उसके चेहरे का रंग शर्म के मारे और लाल हुआ और उसने शर्माते हुए धीमी आवाज में जवाब दिया 'हाँ दीदी, जैसा आप ठीक समझो।'

'दीपक आशा है तुम्हे जवाब मिल गया है!' मिली ने मुस्कान के साथ कहा। 'मास्टर, आपकी दासियाँ के लिए अब आपकी क्या आज्ञा है?'

मैंने कहा सबसे पहले तीनो मेरे पास आओ और फिर सबसे पहले मिली मेरे पास आयी तो मैंने उसके आकर्षक बदन का सर्वेक्षण किया। उसकी पतली, लगभग पारदर्शी पोशाक ने उसके दो बड़े स्तनों को बड़ी मुश्किल से छुपाया हुआ था। जैसा कि आजकल की सभी लड़कियों के साथ आम है उसकी पोशाक बहुत छोटी थी, उसके नंगे और चमकदार जिस्म की इस झलक पर, मैंने महसूस किया कि मेरा लंड उग्र हो रहा था। फिर मैंने उसे पास खींचा और अपने आलिंगन में लिया और उसके बदन पर हाथ फेरते हुए मैंने उसे चूमा।

जैसे ही हम अलग हुए लिली मेरे से लिपट गयी और मेरे हाथ कामुक लिली की कमर पर घूमते रहे, उसके गोल युवा स्तनों को मैंने दबाया और उसने अपनी आँखें बंद कर लीं, आनंद की एक गर्म चमक महसूस कर रही थी। फिर मैंने उसे अपनी बाहो में लिया और उसे प्यार से कुछ देर तक चूमा ।

और जब हम लग हुए तो तब तक एमी को भी समझ आ चूका था अब उसकी बारी है और वह झिझकते हुए सब आँखे नीचे किये हुए हमे चुंबन करते हुए देख रही थी । एमी की पतली, छोटी पोशाक उसके दो नाजुक माध्यम आकार के गोल स्तनों की सही आकृति को एक पतली चोली द्वारा कसकर पकड़े हुए थी और इन दो आकर्षक नाजुक स्तनों को देख कर मेरा मन उन्हें छूने और दबाने के लिए ललचाया, लेकिन यह जानते हुए की एकदम से बहुत आगे बढ़ने से मैं इस सुकुमारी तरुणा को डरा सकता था इसलिए मैंने खुद को संयमित किया और उसके आकर्षक तरुण जिस्म का एक गुप्त सर्वेक्षण किया।

'एमी डियर, अब तुम आओ और मेरे घुटने पर बैठ जाओ,' मैंने कहा। तो एमी ने झिझकते हुए अपनी मिली दीदी की बाजू को छोड़ दिया और धीरे से मेरे घुटनों पर इस तरह से बैठ गई की वह अपनी बड़ी बहनो लिली और मिली का सामना कर रही थी। अपनी जांघो पर उसके नरम वजन को महसूस करना और उसके द्वारा स्पंदित होने वाले छोटे-छोटे झटकों को अनुभव करना बहुत सुखद और उत्तेजक अनुभूति थी, क्योंकि वह अब उत्तेजना से-से कांप रही थी। मैंने अपने बाएँ हाथ को उसकी कमर में डाल कर उसे पकड़ा। उसकी पतली कमर में अपनी बाहों को दबाते हुए उसे कसकर गले से लगा लिया। उसने मुझे किस करने के लिए अपने होंठ प्रेस करने की अनुमति दी और मैंने प्यार से उसे चूमा। और उसे भी मेरे द्वारा इस प्रकार चूमे जाने पर मजा आया हालाँकि जब मैंने अपनी जीभ उसके मुँह में डाली तो उसे यह बहुत अजीब लगा क्योंकि उसे इस तरह से पहले किसी ने नहीं चूमा था।

'मिली, क्या अब आप हमें अपने आप को दिखाओगी?' मैंने कहा-'डियर लिली कृपया अपनी बहन को पूरी तरह से नंगा कर दो और फिर उसे मेरे पास यहाँ लाओ!'

ओह! दीपक! नहीं-नहीं ऐसा मत करो! 'उग्र रूप से निस्तब्ध मिलि ने अचानक विरोध किया। लेकिन लिली ने खुशी-खुशी उसे पकड़ लिया।' प्लीज खड़ी हो जाओ, दीदी! ' लिली फटाफट मिली की नाइटी को खोलने के लिए तैयार हो गई और मेरे और देख कर रोजी भी आगे हो गयी और साथ-साथ एमी की सहायिका शबनम, मिली की सहायिका सपना और लिली की सहायिका डेज़ी ने उसे घेर लिया तो धीरे-धीरे और अनिच्छा से मिली ने मेरी आज्ञा का अनुपालन किया। जल्दी से लिली ने मिली की नाइटी को मिली के ऊपर से खींच लिया और उसे साइड पर फेंक दिया और अब मिली हमारे सामने नग्न खड़ी थी, उसका एक हाथ उसके स्तनों के सामने था जबकि दूसरे हाथ से उसने अपनी योनी को ढँक लिया।

मुझे महसूस हुआ-हुआ अपनी बहन मिली को इस हाल में देख कर मेरे घुटने पर बैठी एमी रोमांचित थी। मैंने उसकी तरफ देखा-उसके गाल गुलाबी लाल थे, लेकिन उसकी निगाहें अपनी मिली दीदी की नग्न आकृति पर टिकी हुई थीं। लिली अपनी बहन के पास ही खड़ी रही, मानो मेरे अगले आदेश की प्रतीक्षा कर रही हो। मैंने देखा लिली भी दबी हुई उत्तेजना से कांप रही थी।

'लिली, अपनी बहन के हाथों को दूर खींचो और उनके सिर के पीछे उन्हें एक साथ जकड़ लो-और रोजी और सपना आप दोनों मिली को फिर यहाँ लाओ!' मैंने आज्ञा दी।

'नहीं, दीपक! नहीं!' मिली, जो जाहिर तौर पर हमारी निगाहों के सामने अपनी योनी को बेनकाब करने के लिए अनिच्छुक थी और शर्मा रही थी। लेकिन लिली उसके पीछे गई, उसकी कलाई को अपनी मजबूत युवा बाहों में पकड़ लिया और उन्हें पीछे की ओर खींचकर उसे वांछित स्थिति में मेरे सामने नग्न कर दिया और फिर लिली जल्दी से एमी और मेरे साथ आ कर मेरी कुर्सी के पीछे खड़ा हो गयी। अपनी बहन की इस हालत में लजाते हुए देख कर उसकी आँखें वासना से चमक रही थीं।

हम तीनों ने मिली को देखा। दोनों लड़कियों की टूटी हुई सांसें उनके दबे हुए उत्साह को छुपा नहीं पा रही थीं। लजाती हुई मिली का नग्न रूप एक रोमांचकारी नजारा था। उसका दमकता हुआ चेहरा, उसकी शानदार आकृति, उसकी लजाने के अदाए, उसके अद्भुत स्तन, उसकी शानदार गोल जांघें और टाँगे, उसके भव्य गोल और बड़े कूल्हे और नितम्ब और घुंघराले रेशमी बालों का आकर्षक जंगल जिसने उसकी योनी को छुपाया हुआ था।

'दीपक! दी कितनी सुंदर शानदार और गौरवशाली है!' प्रशंसा में लिली फुसफुसाई। मेंने सिर हिलाया। 'मिली को धीरे-धीरे घुमाओ, ताकि हम उसे सभी बिंदुओं से और कोनो से देख सकें!' मैंने रोजी को धीरे से बोला जिसे सुन एक त्वरित लाली मिली के चेहरे पर आयी, जिसने मुझे बताया कि मिली ने मेरा ये आदेश सुना था। और प्रतिक्रिया स्वरुप उसका एक हाथ दुबारा उसके स्तनों के सामने था जबकि उसके दूसरे हाथ से उसने अपनी योनी को ढँक लिया और थोड़ी टेडी हो कर खड़ी हो गयी।

मैंने कहा सपना! और सपना ने आगे बढ़ मिली के हाथ पकडे, तो मिली ने मेरी बात का आशय समझ हाथ हटा लिए 'कृपया, मिली!' मैंने धीरे से कहा-'बहुत धीरे से, कृपया!' अनिच्छा से मिली ने मेरी आज्ञा का अनुपालन किया और घुमते हुए हमें उसके शानदार नग्न आकर्षणों का दीदार प्रदान किया।

जब वह हमारे सामने थी तो मैंने उसे स्थिर होने का इशारा किया इस स्थिति में उसका नजारा बस अद्भुत था। मिली जब खड़ी हुई थी तो उसने अभी भी अपनी टाँगे जोड़ी हुई थी और एक घुटना थोड़ा-सा मोड़ा हुआ था औऱ वह लजा रही थी । उसकी कमानदार पीठ और नितम्बो को गोलाई, उसके गोल सुदृढ़ गर्वित स्तनों के साथ तीखे निप्पल और सुनहरे बालों ने मुझे मोहित कर दिया और मैं महसूस कर सकता था कि मेरा लंड सख्त हो रहा था। मुझे आश्चर्य होने लगा कि क्या एमी ने ऐसा नजारा पहले देखा है! कुछ देर तक उसे ऐसे ही देखने के बाद मैंने मिली को अपनी परिक्रमा जारी रखने का इशारा किया तो वह फिर घूमने लगी लेकिन उसके शानदार नितंबों और उसकी कमान दार पीठ और उसकी मोटी जांघों को देखने के लिए मैंने उसे फिर से रोक दिया। और फिर शुरू करते हुए मैंने उसे चक्कर पूरा करने दिया और उसने फिर से हमारा सामना किया। अब मिली आशंका और शर्म से कांप रही थी।

जब सबने वाह! कहा और मैंने कहा मिली आप सच में बहुत सुंदर खूबसूरत औऱ आकर्षक है तो वह शर्मा कर फिर अपने हाथो से अपने स्तन और योनि को छुपाने लगी ।

मैंने कहा मिली, अगर तुम अब भी अपने हुस्न की इस शानदार विशेषताओं को छुपाना चाहती हो तो मेरी छाती में छुपा सकती हो और अपने दोनों बाजुओं को फैला दिया ।

मानो मिली इस आदेश का इन्तजार कर रही थी और एक दम से लपक कर मेरे से लिपट गयी। वहीं लिली और एमी पूरी नंगी मिली के नंगे बदन को सहला रही थीं ताकि वह थोड़ी सामान्य हो सके। फिर लिली फुसफुसाई मिली दीदी आपका शरीर कितना सुन्दर है, बिल्कुल तराशा हुआ, हाथी दांत की तरह चिकना स्वच्छ और सुन्दर है और उस पर आपकी योनि पर हल्के बाल आपको बहुत कामुक बनाते हैं । मैंने आपको कितनी बार नग्न देखा है और आपको अपनी योनि को सहलाते हुए और कई बार सम्भोग करते हुए भी देखा है । आप खुद दीपक को कितना चाहती हैं और आज जब वह आपके सामने हैं तो आप इतना शर्मा क्यों रही हो?

इन कामुक बातों से दोनों उत्तेजित होने लगी और उनकी सांसे तेज चलने लगी। लिली उत्तेजनावश अपना एक हाथ मिली की चूची पर लेजाकर उसे दबाने लगी और अपनी एक उंगली से उसके चूचूकों को रगड़ने लगी। जिससे मिली ओर उत्तेजित और हो गयी और अचानक फुर्ती से मेरे से अलग हो लिली को अपनी ओर खींच कर उससे चिपक गयी और लिली को गले लगा कर अपने स्तन से उसके स्तन को रगड़ने लगी। फिर दोनों एक दूसरे से आलिंगनबद्ध हो गयी ।

लिली थोड़ा घूमी और फिर मिली को बीच में ले आयी और मैं बोला चलो लड़कियो मिली को चूमो। हुमा, एमी, रोजी, सपना, शबनम, डेजी और लिली एक साथ मिली की और लपकी और उसे घेर कर चूमने लगी। सभी सात लड़कियों ने मिली के चेहरे पर चुंबनों की बारिश कर दी । फिर जिसको मिली के बदन में जहाँ जगह मिली वहाँ चुंबन करने लगी। और फिर मैं भी इस समूह में शामिल हो गया औऱ उसके ओंठो को चुंबन करने लगा औऱ इस उत्साहित और उत्तेजित लड़कियों से मिली को बचाने के लिए उसे अपने पास खींच लिया और नंगी मिली को अपनी घुटनों पर बिठा कर उसके कांपते हुए ओंठो पर चुंबन किया। जबकि मेरे हाथ उस समय उसके शानदार स्तनो को दबा रहे थे। फिर भी सभी लड़किया हमारे पास आ गयी और मिली तो जहाँ तहाँ चूमने लगी।

जारी रहेगी

दीपक कुमार

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