All Comments on 'कमसिन बीवी'

by tantrik721

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AnonymousAnonymousalmost 2 years ago

तुम्हारी मैंने बहुत सारी कहानियां पढ़ी, अच्छी लगी पर और अच्छी हो सकती है। मेरा सुझाव रहेगा की सेक्स की व्याख्या और उसके पहले + बाद में इमोशंस भी थोड़े ज्यादा हों। इससे कहानी और रोचक बनेगी।

AnonymousAnonymousalmost 2 years ago

बात करीब 20 साल पहले के है मै नयी नयी शादी करके अपनी ससुराल आई थी। हमारे घर के बाजू वाले घर मे मोहल्ले का गुंडा रहता था। मेरी सास भी मुझे उससे बचके रहने को बोली। मैंने महसूस किया की सभी लोग उससे डरते थे। हमारे घरो की छते मिली हुई थी और मै जब भी कपड़े सुखाने छत पर जाती तो वो मुझसे छेड़छाड़ जरूर करता, हालाकी वो मेरे से उम्र मे बहुत बड़ा था। एक बार वो मौका पा के मेरे मोमे दबा दिया। मै कभी ये बात अपने पति या सास को नहीं बताई क्योकि मुझे डर था की वो ठहरा गुंडा, लड़ाई झगड़े मे हमे ही नुकसान होगा।

एक दिन मै घर मे अकेली थी तो वो छत के रास्ते हमारे घर मे घुस गया। उसको देख के डर के मारे मेरी घिघि बंध गयी। मैंने हर तरह से उसे समझने की कोशिश की पर वो मुझे एक गुड़िया की तरह उठा के मेरे ही बिस्तर पर ले आया। वो मुझे डरा के, धमका के, फुसला के, तैयार कर लिया की मै अपना शरीर उसे राजी से सौप दू तो वो भविष्य मे वो मुझे कभी परेशान नहीं करेगा। मेरे बिस्तर पर ही वो मेरे ऊपर चढ़ गया और मेरे कपड़े नोच नोच के फर्श पर फेक दिया। मै चुपचाप उसे बर्दाश्त करने की नियत से लेटी रही पर वो 15 मिनटो मे ही मेरे शरीर को एसे तबले की तरह बजाया जैसा मेरा पति 6 महीने मे नहीं बाजा पाया था। मेरी चूत पानी पानी हो गयी और मै उसके इशारो पर कठपुतली की तरह नाचने लगी। वो कभी मुझे घोड़ी बना के पेला तो कभी सीधा लिटा के तो कभी अपने ऊपर बैठा के। मै दो बार झड गयी तब जा के वो मेरी चूत मे अपना माल छोड़ा। इसके बाद मै कई सालो तक उससे छुप छुप के चुदती रही।

AnonymousAnonymousover 1 year ago

मेरे पापा के दोस्त अक्सर हमारे घर आते थे और पापा के साथ छत पर बैठ के दारू पीते थे। मेरे को वो बेटी बेटी कहते थे पर हमेशा मेरे ऊपर गंदी नज़र रखते थे। मेरे को सब समझ आता था पर मै कभी मम्मी या पापा से कुछ कह नहीं पायी। एक दिन मम्मी घर मे नहीं थी तो दोनों कमरे मे ही पीने लगे। मेरे को उकसा के उन्होने पापा के सामने ही मेरे को दो बड़े बड़े पेग लगवा दिये। पापा के टुन्न हो जाने के बाद वो मेरे कमरे मे आ गए और मेरे साथ छेड छाड़ करने लगे। फिर धीरे धीरे तुम बहुत प्यारी हो से शुरू हो के तुम बहुत सुंदर हो, तुम बहुत सेक्सी हो तक पहुच गए। फिर एक पप्पी सिर्फ एक पप्पी दे दो कर के वो मेरे पीछे पड़ गया। मै नशे मे बोल्ड फील कर रही थी और उत्तेजित होने लगी।

उसको मौका मिलते ही वो मेरे को पकड़ लिया और मेरे होंटो को चूमने लगा। फिर जैसा होता है, होंटो को चूमने के साथ साथ चूचिया भी मसल दी, फिर गांड पर हाथ और फिर चूत पर। मै गरम होने लगी और वो मेरी सलवार का नाड़ा खोल दिया। मेरे पापा बाहर कमरे मे बेसुध सोते रहे और वो मेरा फायदा उठाने लगा। शराब का और उत्तेजना का नशा मेरे ऊपर पूरी तरह चढ़ा हुआ था मै भी उसका पूरा साथ देने लगी। रात भर मे वो मुझे तीन बार चोदा।

उस रात के बाद से वो मुझे regularly चोदने लगा।

AnonymousAnonymousover 1 year ago

Very good please continue introduce minister character

momcommomcomover 1 year ago

I saw my neighbor bhabhi getting fucked by our street gunda. One afternoon I saw him enter her house and I knew she would be alone at this hour this made me suspicious so I decided to find out. I found a slit in one bedroom window and peeped inside. I saw she was kind of reluctant and he was threatening her, from what I heard I was able to make out that it was not there first time and that she was trying to dissuade him. It was like what we saw in porn, he grabbed her by hairs and sat her on the edge of the bed and then made her suck his cock hard. For good fifteen minutes he made her suck and then unceremoniously he pushed her on the bed and spread her legs wide, pulled her saree over her waist and started fucking her. After five minutes he cum inside her and left.

AnonymousAnonymousover 1 year ago

मेरे को भी एक बार एसे ही जबर्दस्ती चोद दिया गया था और वो चार ताकतवर मर्द थे। मुझे मेरी ही गाड़ी में दबोच लिया और गाड़ी को ले कर पता नहीं कहा सुनसान में ले गए, कोई बंद पड़ी फैक्टरी का आहता था। एक चांटा खाने के बाद मै बुरी तरह से डर गयी फिर एक मेरे को गाड़ी की पीछे वाली सीट पर लिटा के गंदी गंदी गाली देने लगा और मेरी गांड पर ज़ोर ज़ोर से चांटे मारने लगा और कहने लगा की जरा भी नखरा किया तो मार मार के भूत बना देगा। जब वो मेरी सलवार का नाड़ा खोलने लगा तो मेरी हिम्मत नहीं हुई की जरा भी विरोध करू। मुझे पूरी नंगी कर के वो खुद भी नंगा हो गया और मेरे ऊपर चढ़ गया। वो ज़ोर ज़ोर से मेरी पूरे शरीर को रगड़ने लगा, जब वो मेरी छातियो और चूचको को मसलता तो मै दर्द के मारे चिल्ला पड़ती। थोड़ी देर मे ही वो मेरी टाँगे उठा के अपना मोटा लंड मेरी चूत मे घुसेड़ दिया और पेलने लगा। करीब 5-10 मिनट मुझे चोदने के बाद वो मेरे अंदर ही अपना माल निकाल दिया। उसके बाहर जाते ही दूसरा चढ़ गया। चौथे का नंबर आते आते मेरा बुरा हाल हो गया था, चारो मेरे शरीर को जगह जगह से मसल डाले और मेरी छातियो पर नील के निशान पड गए।

थोड़ी देर बाद एक आदमी फिर मेरे से ऊपर चढ़ गया तो मै रुवासी हो गयी और उससे विनती करने लगी की वो अब और न चोदे पर वो कहा सुनने वाला था। वो मेरे बुरी तरह से दर्द करते जिस्म को फिर से मसलने लगा तो मै दर्द के मारे चिल्लाने लगी। मै चिल्लाती रही और वो बेरहमी से पेलता रहा। उसके हटने के बाद थोड़ी देर शांति रही फिर दो लोग अंदर घुस आए।

वो बारी बारी मुझसे अपने लंड चुसवाने लगे, न करने का तो प्रश्न ही नहीं था। लंड मेरे मुह मे घुसाने से पहले ही मुझे समझा दिया था की अगर दाँत जरा सा भी लंड पे गड़े तो मेरी खैर नहीं। कितनी ही देर तक मै चूसती रही, मुह भी दर्द करने लगा। बाद मे मै बेसुध सी सीट पर पड़ी रही और कोई न कोई मेरे ऊपर चढ़ जाता। वो लोग करीब सुबह 4 बजे तक मुझे बारी बारी तो कभी दो एक साथ, पेलते रहे फिर मुझे वही छोड़ कर चले गए। मै वैसे ही नंगी बेसुध पड़ी रही। सुबह 6 बजे कोई मेरे कंधे हिला के मुझे जगाया। वो वहाँ का शायद चौकीदार था।

वो मुझे धंधेवाली समझा और मेरे ऊपर चिल्लाने लगा की सुबह हो गयी है अभी तक नंगी पड़ी है, ये कोई धंधा करने की जगह है। मै शर्म के मारे गड़ी जा रही थी और अपने कपड़े ढूँढने लगी। तभी वो अंदर आ गया और दरवाजा बंद कर दिया। उसके चेहरे पर वासना साफ झलक रही थी। वो मेरी टाँगे पकड़ के खीच लिया और सीट पर लिटा दिया। मेरे अंदर विरोध करने के शक्ति नहीं बची थी। वो अपनी ज़िप खोल के काला सा मोटा लंड बाहर निकाल लिया। दो तीन बार हिला हिला के वो उसे थोड़ा बड़ा कर लिया पर पूरा खड़ा नहीं हुआ। वो मेरे दोनों ओर पैर डाल के लंड मेरे मुह के पास ले आया। मै न मे गर्दन हिलाने लगी तो वो लंड को मेरे होंटो पर रगड़ता हुआ बोला “नखरा मत कर, खड़ा कर इसे।” थोड़ी न नुकुर के बाद वो अपना लंड मेरे मुह मे घुसेड़ दिया।

मेरे मुह की गर्मी पाते ही वो तेजी से कडक हो गया। करीब 5-7 मिनट चुसवाने के बाद वो चूत चोदने मे जुट गया। अपनी संतुस्टी करने के बाद वो हट गया और मेरे को जल्दी से कपड़े पहन के निकालने के लिए कहने लगा। मै उस दिन बड़ी मुश्किल से घर पहुंची।

AnonymousAnonymousover 1 year ago

इतना उत्तेजक और मज़ेदार नहीं होता औरत के लिए बलात्कार। मेरे को सड़क से उठा लिया था शाम को 7 बजे ही जब मै पड़ोस की दुकान से सामान खरीद कर घर आ रही थी और सड़क के किनारे ही एक अधबनी बिल्डिंग मे ले गए। मुझे पता ही नहीं चला कब उन्होने मुझे अपने कब्जे मे ले लिया, कुछ सोचने, समझने, करने का मौका ही नहीं मिला, वो पाँच मजदूर लोग थे जो वहाँ काम करते थे।

बिल्डिंग की बेसमेंट मे उन्होने मुझे लिटा लिया, जब मैंने विरोध करने की कोशिश की तो मेरी पिटाई करने लगे, मेरे पेट मे इतनी ज़ोर से मारा की मेरी जान ही निकल गयी। उसके बाद जब वो मेरे कपड़े उतारने लगे तो मै रोने लगी पर डर के मारे चुपचाप लेटी रही।

‘चुप कुतिया, चुप साली रंडी,’ वो मेरे को हड्काने लगे और साथ ही साथ मेरे बदन को जगह जगह नोचने लगे, चूचियो को इतनी ज़ोर से निचोड़ा की मेरी चीख निकल गयी। उसके बाद वो फिर मेरे गालो और चुतड़ों पर चांटे मारने लगे, ‘चुप साली, आवाज नहीं, एकदम चुप कुतिया।“ उन्होने मुझे मार मार के और जांघों और चूचियो को नोच नोच के मेरा बुरा हाल कर दिया। जब वो संतुष्ट हो गए की ये औरत पूरी तरह काबू मे है तब एक मजदूर ने मुझे घुटनो के बल बैठा के अपना लंड मेरे मुह मे घुसेड़ दिया। ‘चल चूस साली, कुतिया अगर ठीक से नहीं चूसा तो मार के यही गाड़ दूँगा, दाँत नहीं लगना चाहिए।“ मै डर के मारे चुपचाप चूसती रही और दूसरा मजदूर पीछे से मेरी चूत मे लंड घुसाने लगा। कितनी ही देर तक पांचों मुझे चोदते रहे, कभी दो दो तो कभी एक एक करके। करने के बाद वो मुझे वहीं नंगा छोड़ के भाग गए।

AnonymousAnonymousabout 1 year ago

मुझे होली के दिन 5 हरामियो ने पकड़ लिया था। मै अपनी बिल्डिंग सोसाइटी मे ही होली खेल रही थी। नीचे सभी लोग ग्राउंड मे जमा थे डीजे ज़ोर ज़ोर से बज रहा था, रंग गुलाल उड़ रहा था। मै बिल्डिंग की लिफ्ट के पीछे से आ रही थी की तभी 5 मुस्टंडो ने मुझे घेर लिया। भाभी होली, भाभी होली, मै समझी सोसाइटी के ही लोग होंगे। मै उनके बीच घिर सी गयी और फिर अपने रंगे हुए हाथ मेरे गालो पर मलने लगे। एक हाथ पीछे से गले पे पहुच गया तो मै चिल्लाई, ‘बातमीजी नहीं’ पर वो ज़ोर से चिल्लाए ‘होली है।’ मै उनके बीच से निकलने की कोशिश करने लगी पर पीछे से किसी ने जकड़ लिया और हाथ कुर्ते के अंदर चूचि को जकड़ लिया। मै एकदम हड्बड़ा गयी, मुझे उम्मीद नहीं थी की एसी बत्तमीजी करेंगे।

मै चिल्लाने लगी, धक्का दे कर छूटने की कोशिश करने लगी पर वो 5 लोग थे और डीजे की आवाज मे मेरी आवाज किसी को नहीं सुनाई पड़ने वाली थी। मै छीना झपटी करती रही पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा था, मेरी चूचिया भोपू की तरह बजा रहे थे, टाँगो के बीच हाथ डाल के चूत मसल रहे थे। तभी मुझे एहसास हुआ की छीना झपटी करते करते वो मुझे सीढ़ियो से नीचे बेसमेंट मे ले आए थे, मेरा हलक सूखने लगा। अभी तक लग रहा था की होली का बहाना कर के सिर्फ बातमीजी, छेड़छाड़ करेंगे, पर अब बेसेमेंट के लगभग अंधेरे से माहौल मे मै अनहोनी की आशंका मे काँपने लगी। मेरे चिल्लाने का, विनती करने का कोई असर नहीं पड़ रहा था। मै संघर्ष करती रही पर वो मेरे कपड़े आसानी से उतार फेंके। फिर मैंने देखा की एक आदमी अपनी जीन्स की ज़िप खोल के लंड बाहर निकाल लिया। चार लोगो ने मुझे जकड़ रक्खा था और मेरी टांग उठा के फैला दी थी। वो आदमी मेरी टाँगो के बीच खड़ा होके अपना लंड मेरी चूत पर फिराने लगा और फिर अगले ही पल एक ही धक्के मे वो पूरा मेरी चूत के अंदर समा गया। मै यकीन नहीं कर पा रही थी की मेरा रेप हो रहा था, कितनी आसानी से उन्होने मुझे बेबस कर दिया था। उसका लंड मुझे एक नश्तर की तरह लगा रहा था जो मेरे अंदर बाहर हो रहा था। थोड़ी देर मे वो हुंकार सी भरता हुआ मेरे अंदर ही पानी गिरा दिया।

उसके बाद मुझे फर्श पर लिटा दिया गया और दूसरा आदमी मेरे ऊपर सवार हो गया। मेरी विरोध करने की इक्छाशक्ति समाप्त हो चुकी थी। वो मेरे उरोजों को मसलते, चूसते हुए मुझे चोदता रहा। उसके बाद तीसरा फिर चौथा, मै गिनती रही, जब पांचवा उतरा तो मै सोची की अब खत्म, पर नहीं, कोई दूसरे राउंड के लिए फिर से जकड़ लिया। तीन लोगो ने दूसरा राउंड भी किया। इसके बाद वो मुझे वही नंगी छोड़ के भाग गए।

मै उठ के अपने कपड़े ढूंढ ढूंढ के पहनी और फिर बेसमेंट की सीढ़िया चढ़ के ऊपर आने लगी। मै सोच रही थी मे शायद मै उठ भी न पाऊँगी पर मै बिना किसी शारीरक तकलीफ के चल के ग्राउंड मे पहुँच गयी। वहाँ वैसा ही मौहौल था, सब होली की हुड़दंग मे मस्त थे, मेरे पति और बच्चे कुछ दूर पर ही खेल रहे थे। मै एक कोने मे बैठ के सोचने लगी की क्या करू। थोड़ी देर बाद मुझे कुछ नहीं सूझा तो चुपचाप उठ के घर चली आई और बाथरूम मे घुस गयी नहाने के लिए।

AnonymousAnonymous6 months ago

एक बार मै अपनी बहन के साथ आ रहा था, रात काफी हो गयी थी और हाइवे पर हमारी मोटरसाइकल रोक ली और 5 बदमाशो ने हमे घेर लिया। हम दोनों को सड़क के नीचे खेतो मे ले गए और सभी पैसे गहने छीन लिए। फिर बहन को पकड़ लिए चोदने के लिए। मै कुछ कर नहीं पाया, मेरे विरोध करने पर मेरी पिटाई होने लगी तो दीदी बीच मे आ गयी और समर्पण कर दिया।

सिर्फ समर्पण करने से काम नहीं चला, दीदी को पूरा सहयोग करना पड़ा चुदाई मे। मेरा कलेजा मुह को आने लगा जब वो दीदी को मेरे सामने ही नंगा कर दिये।

दीदी को पांचों ने बुरी तरह भभोड़ भभोड़ के चोदा। पांचों ने लाँड़ चुसवाया और तीन ने गांड मारी और दो ने चूत मारी। फिर दो ने लाँड़ चुसवाया और मुह मे ही माल निकाल दिया और दो और ने सेकंड राउंड मे गांड मारी। जब पांचों छोड़ के गए तो दीदी पस्त पड़ी रही और मुझे ही उनको कपड़े पहनाने पड़े।

AnonymousAnonymous17 days ago

मेरी बीवी मालती भी कुछ एसे ही चक्कर मे फंस गयी थी। मोहल्ले का ही एक मनचला मालती को भाभी भाभी बोलकर छेड़ता रहता था और मालती भी उसे discourage नहीं करी बल्कि मज़ाक का जवाब मज़ाक मे देती रही। फिर होली पर वो हदे पार कर दिया और उसकी चूचिया और नितांब मसल दिये। मालती उस वक़्त तो बच के निकल गयी पर इसके बारे मे किसी को नहीं बताया और उधर उस हारामी की हिम्मत बढ़ गयी। एक बार बाज़ार से दोपहर मे लौट रही थी तो मोटरसाइकल पर घर छोड़ दूँगा करके उसे बैठा लिया और फिर चाय पी कर जाना कह के उसे पता नहीं किसके फ्लॅट पर ले गया। फिर फ्लॅट पर वही हुआ, तबीयत से चुदाई हुई। घर आ के फिर किसी को नहीं बताई। इसके बाद अक्सर उसके साथ जाने लगी, उसके फ्लॅट वाले दोस्त से भी चुदी। किसी ने फ्लॅट मे जाते देख लिया तो बात उड़ते उड़ते मुझे तक भी पहुँच गयी। जब मैंने पूछा तो रो रो कर कहने लगी मेरे साथ जबर्दस्ती हुई है। मेरे को कोई भी action लेने से भी मना कर दिया की मामले को दबा दो नहीं तो बदनामी होगी। हम लोगो ने फिर मोहल्ला बदल दिया और मै खून का घूट पी कर रह गया।

कुछ दिनो बाद मैंने उस हरामी को फिर घर के आस पास देख लिया, तो मालती नई कहानी ले कर मेरे सामने रोना धोना शुरू कर दिया की उसकी video बना ली है और मै कुछ न बोलू। मेरे को समझाई की अगर नहीं चुदवायगी तो बदनामी कर देगा। मैंने उसे video दिखाने को बोला तो कुछ दिनो बाद एक video मुझे दिखाई जिसमे वो उसका लंड चूस रही थी। मैंने वो video उससे ले ली और फिर तलाक के लिए बोल दिया जो उसने video की वजह से चुपचाप दे दिया।

आजकल मालती एक घटिया से होटल मे reseptionist का काम कर रही है और रात मे रंडी का।

Anonymous
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Anonymous flings always exited me and I always wanted to write about extramarital affairs. There is always a part of me in female characters I write about. The stories I submit is part my imagination and part the real incidents happened in life. I am easy going and can be e...